Relationship: सेक्स के दौरान अगर रजामंदी के बिना कोई गलत काम किया जाए तो इसे अपराधा माना जाता है. ऐसा करने से आपको जेल हो सकती है. मोटा जुर्माना भी भरना पड़ सकता है. इसे लेकर अलग-अलग देशों में अलग-अलग नियम हैं.
Reported by SACHIN RAI, Dy. Editor, 8982355810
Relationship: सेक्स के दौरान अगर रजामंदी के बिना कोई गलत काम किया जाए तो इसे अपराधा माना जाता है. ऐसा करने से आपको जेल हो सकती है. मोटा जुर्माना भी भरना पड़ सकता है. इसे लेकर अलग-अलग देशों में अलग-अलग नियम हैं. हम जो मामला आपको बताने जा रहें वह नीदरलैंड में इन दिनों सुर्खियों में बना हुआ है. नीदरलैंड में पहली बार सेक्स से जुड़ा ऐसा मामला सामने आया है. आइये आपको बताते हैं इस मामले और सेक्स से जुड़े नियमों के बारे में.
नीदरलैंड में एक शख्स अपनी फीमेल पार्टनर की सहमति लिए बिना सेक्स के दौरान चुपके से कंडोम हटाने का दोषी साबित हुआ है. आरोपी को यौन संबंध के दौरान अपने कंडोम को हटाने का मंगलवार को दोषी ठहराया गया. इस व्यक्ति के लिए राहत की बात यह रही कि कोर्ट ने उसे बलात्कार के आरोप से बरी कर दिया. कोर्ट ने कहा कि दोषी पर बलात्कार के आरोप साबित नहीं होते क्योंकि दोनों सहमति से सेक्स के लिए राजी हुए थे.
कोर्ट ने कहा कि दोषी ने अपने कार्यों से पीड़िता को उसके साथ असुरक्षित यौन संबंध को सहन करने के लिए मजबूर किया. ऐसा करने पर उसने अपनी व्यक्तिगत स्वतंत्रता को प्रतिबंधित कर दिया और उस भरोसे का दुरुपयोग किया जो उसने खुद पर रखा था.
मीडिया रिपोर्ट्स में कहा गया है कि कोर्ट ने यह भी कहा कि दोषी ने इस घटनाक्रम के बाद पीड़ितो को एसएमएस भेजकर माफी भी मांगी थी और कहा था कि तुम ठीक हो जाओगी. इससे हटकर बात करें तो ऐसे और भी मामले सामने आ चुके हैं.
जर्मनी में एक मामले में बर्लिन की एक अदालत ने 2018 में एक पुलिस अधिकारी को यौन उत्पीड़न का दोषी ठहराया और उसे सेक्स के दौरान चुपके से अपना कंडोम निकालने के लिए आठ महीने के लिए निलंबित कर दिया था. आरोपी पुलिसकर्मी को पीड़ित को लगभग 3,100 यूरो का हर्जाना देने का आदेश भी दिया गया था. प्रारंभिक अपील पर निलंबित सजा को घटाकर छह महीने कर दिया गया.
2021 में कैलिफोर्निया “स्टील्थिंग” को गैरकानूनी घोषित करने वाला पहला राज्य बना था. जिसके बाद यहां सहमति के बिना सेक्स के दौरान कंडोम को हटाना अवैध हो गया. लेकिन इसने आपराधिक कोड नहीं बदले. इसके बजाय, यह नागरिक संहिता में संशोधन करेगा ताकि एक पीड़ित दंडात्मक क्षति सहित क्षति के लिए अपराधी पर मुकदमा कर सके.
डॉर्ड्रेक्ट के मामले में रॉटरडैम के एक 28 वर्षीय व्यक्ति को तीन महीने के लिए जेल की सजा सुनाई गई थी. इसके साथ ही कोर्ट ने कहा था कि आरोपी को तब तक जेल नहीं काटनी होगी जब तक कि वह एक और ऐसा अपराध नहीं करता. साथ ही पीड़ित को 1,000 यूरो का भुगतान करने का आदेश भी दिया गया था.