भाजपा का आरोप- दिल्ली में चल रही विज्ञापन घोटाले की सरकार, केजरीवाल लौटाएं जनता का पैसा
दिल्ली प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने मंगलवार को एक प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि इस मामले के सामने आने के बाद यह स्पष्ट हो गया है कि अरविंद केजरीवाल जनता के पैसे से अपना चेहरा चमकाने की कोशिश कर रहे थे…
दिल्ली भाजपा ने अरविंद केजरीवाल को ‘जनता के पैसे से अपना प्रचार’ (Advertisement Scam) करने वाला नेता बताया है। पार्टी ने कहा है कि जनता के पैसे से अपनी छवि चमकाने के कारण ही केजरीवाल अब तक दिल्ली की जनता को साफ पानी तक नहीं उपलब्ध करा सके। पार्टी ने मांग की है कि अरविंद केजरीवाल को जनता का यह पैसा तत्काल सरकार के खजाने में जमा कराना चाहिए। भाजपा का यह आरोप उपराज्यपाल के उस आदेश के बाद आया है, जिसमें अरविंद केजरीवाल पर जनता के पैसे से अपना प्रचार करने का दोषी पाते हुए उन्हें 97 करोड़ रुपये सरकार को वापस देने का आदेश दिया गया है। उन आरोप सामने आते ही दिल्ली की राजनीति में नया भूचाल आ गया है।
दिल्ली प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने मंगलवार को एक प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि इस मामले के सामने आने के बाद यह स्पष्ट हो गया है कि अरविंद केजरीवाल जनता के पैसे से अपना चेहरा चमकाने की कोशिश कर रहे थे। इस मामले में बार-बार सरकार से प्रश्न किया गया, लेकिन वह इस पर कोई जवाब देने से बचती रही है। उन्होंने कहा कि इसी से समझ आता है कि सत्ता में आने के सात साल बाद भी सरकार लोगों को साफ पानी तक क्यों उपलब्ध नहीं करा पाई।
आम आदमी पार्टी की नीतियों पर हमला करते हुए भाजपा सांसद मनोज तिवारी ने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय के द्वारा गठित कमेटी CCRGA ने अरविंद केजरीवाल को 97 करोड़ रुपये सरकार के खजाने में जमा करने के लिए कहा है। यह मामला मार्च 2017 तक के लिए ही है, लेकिन तब से अब तक लगभग पांच साल बीत चुके हैं और इस दौरान भी केजरीवाल सरकार लगातार जनता के पैसे से अपना प्रचार करती रही। उन्होंने कहा कि इस मामले पर भी जांच होनी चाहिए कि केजरीवाल ने अब तक जनता का कितना पैसा अपने निजी प्रचार पर खर्च किया। इसे जनता को वापस किया जाना चाहिए।
नेता प्रतिपक्ष रामवीर सिंह बिधूड़ी ने कहा कि 2013 के पहले तक दिल्ली की सरकारें अपने प्रचार पर 18 करोड़ रुपये वार्षिक तक ही खर्च करती थीं, लेकिन केजरीवाल के सत्ता में आने के बाद यह राशि बढ़कर लगभग 600 करोड़ रुपये तक हो गई। सरकार ने इस साल इससे भी ज्यादा राशि विज्ञापन पर खर्च करने की योजना बनाई है।
बिधूड़ी ने आरोप लगाया कि सरकार का यह विज्ञापन भी उसकी पार्टी के अपने कार्यकर्ताओं के माध्यम से चलाया जा रहा था। इस तरह विज्ञापन के मामले में भी खर्च दिखाकर जनता के पैसे की लूट की गई। उन्होंने कहा कि यह घोटाला 97 करोड़ का नहीं, बल्कि 400 करोड़ रुपये का हो सकता है। इसकी सीबीआई जांच की जानी चाहिए