भोपाल, 4 जुलाई। राजधानी में भक्तों को पुरी जगन्नाथ यात्रा की झलक देखने को मिलेगी। भगवान जगन्नाथ भ्राता बलदेव और बहन सुभद्रा के साथ रथ पर सवार होकर सभी भक्तों को दर्शन देने के लिए मंदिर से बाहर निकलते हैं। इस यात्रा को लेकर मान्यता है कि भगवान जगन्नाथ 15 दिन तक रोगग्रस्त रहने के बाद जनदर्शन देने निकलते हैं। यह उत्सव उड़ीसा के जगन्नाथ पुरी धाम में प्राचीन काल से मनाया जाता है। भोपाल में मानस भवन से 7 जुलाई को जगन्नाथ जी की रथयात्रा दोपहर 12 बजे वृंदावन से आए वैष्णव परंपरा के आचार्य श्री हरे कृष्ण दास ब्रह्मचारी के सानिध्य में निकाली जाएगी। यह रथयात्रा मानस भवन से शुरू होकर रोशनपुरा चौराहा,न्यू मार्केट और रंगमहल चौराहा होते हुए मानस पहुंचेगी और यही पर यात्रा का समापन होगा। जगन्नाथ पुरी की ही तर्ज पर यह रथयात्रा 40 वर्षों से चैतन्य महाप्रभु की वैष्णव परंपरा के अनुसार चैतन्य प्रेम भक्ति संघ द्वारा निकाली जा रही है। इस कार्यक्रम के अंतर्गत 5 से 7 जुलाई तक भोपाल के विभिन्न क्षेत्रों में सुबह हरिनाम संकीर्तन प्रभातफेरी निकाली जाएगी और शाम को 6 से 9 बजे तक भजन संकीर्तन और धर्म प्रवचन का आयोजन किया जाएगा।
तैयारी में जुटे हैं जगन्नाथ पुरी के कारीगर
राजधानी में यात्रा के लिए रथ को अंतिम रूप दिया जा रहा है। जगन्नाथ पुरी के कारीगर ही विग्रह तैयार कर रहे हैं। जगन्नाथ रथयात्रा में देशभर के कयी भक्त और संकीर्तन कार शामिल हो रहे हैं। सभी भक्त भगवान जगन्नाथ के सामने भजन और नृत्य करते हुए शामिल होंगे साथ ही प्रदेश सरकार की मंत्री कृष्णा गौर को आमंत्रित किया गया है। राजधानी वासी भी रथयात्रा और रथ खींचने का पुण्य लाभ ले सकेंगे।