मध्यप्रदेश के अशोकनगर जिले में बुधवार को ग्वालियर लोकायुक्त की टीम ने रिश्वत के एक मामले में महिला एवं बाल विकास विभाग के एक बाबू को रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। आरोपी के विरुद्ध भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत कार्रवाई की गई है।जानकारी के मुताबिक, यह पूरा मामला अशोकनगर जिले के बरखेड़ा जमाल गांव में संचालित स्व सहायता समूह से जुड़ा है, जिसमें समूह अध्यक्ष के पति से महिला एवं बाल विकास विभाग के बाबू द्वारा समूह को होने वाले भुगतान के बदले 25 प्रतिशत राशि की मांग की जा रही थी। यह सौदा लगभग 12 हजार रुपये में तय हुआ था, शिकायतकर्ता 3 हजार रुपये की राशि बाबू को पहले ही दे चुका था।
लोकायुक्त डीएसपी विनोद कुशवाहा ने मीडिया से बातचीत में बताया कि शिकायतकर्ता रामप्रसाद अहिरवार ने शिकायत दर्ज कराई थी कि उनकी पत्नी द्वारा स्व सहायता समूह का संचालन कर आंगनवाड़ी केंद्रों पर पोषण आहार वितरित किया जाता है, जिसकी राशि शासन द्वारा भुगतान की जाती है। इस भुगतान के बदले महिला एवं बाल विकास विभाग के बाबू अनिल पाठक ने उनसे 12 हजार रुपये रिश्वत की मांग की थी, जिसमें से 7 हजार रुपये देना शेष थे। 18 सितंबर को जब फरियादी रिश्वत की शेष राशि देने पहुंचे, तब उन्हें रंगे हाथों गिरफ्तार कर कार्रवाई की गई है।